भारत ने विश्व प्रतिस्पर्धात्मकता सूचकांक में लगाई लम्बी छलांग
भारत न केवल आर्थिक विकास पर पूरा ध्यान केंद्रित किए हुए है बल्कि इस आर्थिक विकास का लाभ अंतिम व्यक्ति तक पहुंचे इस ओर भी पूरा पूरा ध्यान दिया जा रहा है।
केंद्र सरकार के प्रयासों से मजबूत हो रहे भारतीय बैंक
सरकार के प्रयासों से बैंकों के एनपीए में कमी दृष्टिगोचर हो रही है। पिछले 6 वर्षों के दौरान सरकार ने लगातार बैंकों की हर तरह की समस्याओं के समाधान हेतु प्रयास किए हैं।
मोदी सरकार की नीतियों से नई ऊँचाईयों की ओर बढ़ रहा कृषि उत्पादों का निर्यात
हाल ही के समय में केंद्र सरकार द्वारा लिए गए कई निर्णयों के चलते कृषि उत्पादों का निर्यात बहुत तेज़ी से वृद्धि दर्ज करता देखा जा रहा है।
मोदी सरकार के प्रयासों से तैयार हो रहा ग्रामीण कृषि बाजारों का नेटवर्क
हमारे देश में खेती-किसानी की बदहाली की एक बड़ी वजह अविकसित कृषि बाजार की रही है। रिजर्व बैंक कई बार कह चुका है कि कृषि बाजार की प्रभावी उपस्थिति ग्रामीण विकास और गरीबी उन्मूलन का सशक्त हथियार है। इसके बावजूद जाति व धर्म की राजनीति करने वाली सरकारों ने इस ओर कभी ध्यान ही नहीं दिया। नई आर्थिक नीतियों के दौर में देश में गठबंधन सरकारों
बाजार उधारी कम करने से आएगी राजकोषीय घाटे में कमी
नकदी और बॉन्ड यील्ड पर दबाव कम करने के लिये सरकार वित्त वर्ष 2018-19 में सकल बाजार उधारी में 700 अरब रुपये की कटौती करेगी, जिससे राजकोषीय घाटे में कमी आयेगी। अक्टूबर, 2018 से मार्च, 2019 के दौरान सरकार 2.47 लाख करोड़ रूपये बाजार उधारी को कम करेगी। पहली छमाही यानी अप्रैल, 2018 से सितंबर, 2018 की अवधि में सरकार बाजार उधारी को
‘मेक इन इंडिया’ के आगे धराशायी हुआ ‘मेड इन चाइना’
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा शुरू किए गए मेक इन इंडिया अभियान का असर दिखना शुरू हो गया है। चीनी उत्पादों के बाजार के समक्ष अक्सर बौने साबित होने वाले भारतीय उत्पादों का लोहा अब दुनिया भी मानने लगी है। हाल ही में यूरोपीय संघ समेत दुनिया के 49 देशों के उत्पादों की गुणवत्ता को लेकर किए गए एक सर्वेक्षण की रिपोर्ट में भारत को 36 अंक दिए गए है, जबकि पड़ोसी मुल्क चीन को 28 अंको के