जम्मू-कश्मीर में हिंदी, कश्मीरी और डोगरी को आधिकारिक भाषा बनाए जाने के निहितार्थ
सरकार के इस महत्वपूर्ण निर्णय की वजह से ना सिर्फ जम्मू कश्मीर के लोगों में समानता का भाव बढ़ेगा बल्कि हिंदी के आधिकारिक भाषा बनने से देश के अन्य नागरिकों के साथ उपजे भेदभाव को भी मिटाने में मदद मिलेगी।