मोदी की आर्थिक नीतियों से फ़्रांस को पछाड़ भारत बना दुनिया की छठी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था !
मोदी सरकार की आर्थिक नीतियों की वजह से भारतीय अर्थव्यवस्था दुनिया की छठी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन गई है। इसके पहले फ्रांस इस स्थान पर काबिज था। विश्व बैंक के अनुसार भारत की सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) वर्ष 2017 में 2.597 ट्रिलियन यूएस डॉलर थी, जबकि फ्रांस की 2.582 ट्रिलियन यूएस डॉलर।
‘हमें ऐसे युवा बनाने होंगे जो देश के सहारे आगे बढ़ने की बजाय देश को आगे बढ़ाने की सोचें’
भारत एक युवा देश है। युवाओं के मामले में हम विश्व में सबसे समृद्ध देश हैं। यानि दुनिया के किसी भी देश से ज्यादा युवा हमारे देश में हैं। भारत सरकार की यूथ इन इंडिया-2017 की रिपोर्ट के अनुसार देश में 1971 से 2011 के बीच युवाओं की आबादी में 34.8% की वृद्धि हुई है। बता दिया जाए कि इस रिपोर्ट में 15 से 33 वर्ष तक के लोगों को युवा माना गया है।
भारत-चीन अनौपचारिक वार्ता के निकलेंगे सकारात्मक परिणाम
अंततः बिना एजेंडे की शिखर वार्ता का प्रयोग कारगर रहा। भारत और चीन के बीच आपसी विश्वास बहाल हुआ। चीन ने भारत के साथ संवाद और अच्छे संबन्ध रखने का महत्व स्वीकार किया। कहा गया कि द्विपक्षीय संबंधों का नया अध्याय शुरू हुआ है। ये सकारात्मक रूप में आगे बढ़ते रहेंगे। दो दिन में छह वार्ताएं हुई। यह सकारात्मक बदलाव को रेखांकित करता है। भविष्य में इसके बेहतर परिणाम देखने को मिल सकते है।
अपनों के दबाव में भारत से सम्बन्ध सुधारने को मजबूर चीन !
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की आगामी चीन यात्रा से एशिया की दो महाशक्तियों के बीच डोकलाम विवाद के बाद पैदा हुई खटास खत्म होने की संभावना है। डोकलाम विवाद पर दोनों देश रणभूमि में आमने-सामने थे। मोदी 27 और 28 अप्रैल को चीन यात्रा पर होंगे। वहां वे अंतर्राष्ट्रीय मामलों पर विचारों का आदान-प्रदान करने तथा दोनों देशों के बीच परस्पर संवाद को बढ़ावा देने के लिए चीन के वुहान शहर में एक
फ्रांस के राष्ट्रपति की इस भारत यात्रा से दोनों देशों के बीच संबंधों का नया अध्याय शुरू हुआ है !
फ्रांस के राष्ट्रपति की भारत यात्रा से दोनों देशों के रिश्तों का नया अध्याय शुरू हुआ है। दोनों के बीच इतना विश्वास और सहयोग का माहौल पहले कभी नहीं था। इतना विस्तार भी अभूतपूर्व है। इसमें सुदूर मिर्जापुर के छानबे ब्लाक से लेकर हिन्द महासागर का इलाका भी शामिल है। फ्रांस बड़ी मात्रा में निवेश पर सहमत हुआ। जहाँ निवेश किया है, उस जगह जाना भी विदेशी राष्ट्रपति के लिए सुखद रहा।
कूटनीतिक दृष्टि से नैसर्गिक साझीदार हैं भारत और इजरायल
14 जनवरी को भारत दौरे पर आये इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू का प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने प्रोटोकॉल तोड़कर दिल्ली एयरपोर्ट पर गर्मजोशी के साथ स्वागत किया। दरअसल इजरायली प्रधानमंत्री नेतन्याहू का यह दौरा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के इजरायल की यात्रा करने के महज छह महीने बाद हुआ है एवं इससे दोनों देशों के बीच 25 साल के कूटनीतिक संबंध को मजबूती मिली है।
भारत-इजरायल संबंधों में मजबूत स्थिति में भारत ही रहेगा !
इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू की भारत यात्रा के दौरान दोनों देशों के बीच नौ क्षेत्रों में सहयोग बढ़ाने पर सहमति कायम हुई है। कई अनुबंधों पर हस्ताक्षर भी किए गए हैं। इन नौ क्षेत्रों में कृषि, तेल और गैस; सुरक्षा और साइबर तकनीक; पेट्रोलियम, फिल्म निर्माण, उड्डयन, नवीन ऊर्जा, अन्तरिक्ष और पारंपरिक चिकित्सा जैसे क्षेत्र शामिल हैं। इसके अलावा आतंकवाद के मोर्चे पर भी दोनों देश पीड़ित हैं। इजरायल जहां
जाधव को रिहा करे पाकिस्तान, तो ही सुधरने की ओर बढ़ेंगे भारत-पाक संबंध!
पाकिस्तान की जेल में बंद पूर्व भारतीय नौसेना अधिकारी कुलभूषण जाधव की मां और पत्नी ने उनसे 30 मिनट के लिए मुलाकात की। जरा कल्पना कीजिए कि इन तीनों में जब मुलाकात हुई होगी तो वे पल कितने भावुक होंगे। तीनों एक लंबे अंतराल के बाद मिल रहे थे। हालांकि पाकिस्तान ने इस मुलाक़ात में भी अपनी नापाक हरकतें दिखा ही दीं। पाकिस्तान अपनी दुष्ट हरकतों से बाज आने का नाम ही नहीं ले रहा है।
भारत-ईरान की चाबहार परियोजना से सकते में चीन, अलग-थलग पड़ा पाकिस्तान !
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी हर ओर अपनी कूटनीति का डंका मनवा रहे हैं। वर्षों से चीन भारत को चारों तरफ से घेरने की रणनीति के तहत पड़ोसी देशों में अपनी पैठ बढ़ा रहा है। अब प्रधानमंत्री चीन व पाकिस्तान जैसे देशों को उन्हीं की भाषा में जवाब दे रहे हैं। चीन के बढ़ते प्रभुत्व को कम करने के लिए प्रधानमंत्री ने सबसे पहले “लुक ईस्ट पॉलिसी” को “एक्ट ईस्ट पॉलिसी” में बदला। आसियान और शंघाई कोऑपरेशन
ईरान-पाकिस्तान में बढ़ रही तल्खियां, भारत के लिए है बड़ा अवसर
पाकिस्तान के आर्मी चीफ जनरल कमर जावेद बाजवा ने बीते दिनों ईरान की यात्रा की। ये कोई सामान्य औपचारिक यात्रा नहीं थी बाजवा की। दरअसल ईरान-पाकिस्तान के संबंधों में लगातार तल्खी आ रही है। पिछले साल जिस दिन भारतीय सेना ने आजाद कश्मीर में आतंकी शिविरों को बर्बाद किया था, उसी दिन ईरान ने भी पाकिस्तान पर हमला किया था। दरअसल 28-29 सितंबर, 2016 की रात पाकिस्तान को लंबे समय तक