दूर तक जाएगी संसद में मोदी के भाषण की गूँज !
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी व्यापक लक्ष्यों को ध्यान में रखकर चलते हैं। राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव की चर्चा का जवाब देते समय मोदी का यही अंदाज दिखाई दिया। जवाब तात्कालिक चर्चा के थे, किंतु उनका असर दूर तक जाएगा। आगामी लोकसभा चुनाव तक इसकी गूंज सुनाई दे तो कोई आश्चर्य नहीं होना चाहिए। कांग्रेस ने सरकार पर हमला बोलने में कोई कसर नहीं छोड़ी। उसे लगा होगा कि इन हमलों के बाद
विश्व आर्थिक मंच सम्मेलन : विकास के आईने में मोदी ने दिखाई भारत की तस्वीर !
विश्व आर्थिक मंच की 48वीं सालाना बैठक को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री मोदी ने दुनिया में आतंकवाद, संरक्षणवाद और जलवायु परिवर्तन पर चिंता जताई। उन्होंने कहा कि ऐसी समस्याओं से दुनिया को मिलकर लड़ने की जरूरत है। प्रधानमंत्री मोदी ने अपना भाषण हिंदी में दिया। उन्होंने ‘वसुधैव कुटुम्बकम’ के भारतीय दर्शन, प्रकृति के साथ गहरे तालमेल की भारतीय परंपरा और भारतीय उपनिषदों का जिक्र करते हुए दुनिया के
नेतन्याहू भारत आए तो वामपंथियों के सीने पर सांप क्यों लोटने लगा !
विदेश नीति का मुख्य तत्व राष्ट्रीय हित होता है। अन्य तत्वों में बदलाव हो सकता है, लेकिन राष्ट्रीय हित की कभी अवहेलना नहीं होनी चाहिए। इजरायल के साथ भारत की दोस्ती राष्ट्रीय हित के अनुरूप है। ऐसे में, यह अनुचित है कि भारत के कुछ विपक्षी राजनीतिक दलों और नेताओं ने इजरायली प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू की यात्रा का विरोध किया या उनसे मिलने के तरीके पर हल्की टिप्पणी की। ऐसा करने वाले नेताओं को
भारत-इजरायल संबंधों में मजबूत स्थिति में भारत ही रहेगा !
इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू की भारत यात्रा के दौरान दोनों देशों के बीच नौ क्षेत्रों में सहयोग बढ़ाने पर सहमति कायम हुई है। कई अनुबंधों पर हस्ताक्षर भी किए गए हैं। इन नौ क्षेत्रों में कृषि, तेल और गैस; सुरक्षा और साइबर तकनीक; पेट्रोलियम, फिल्म निर्माण, उड्डयन, नवीन ऊर्जा, अन्तरिक्ष और पारंपरिक चिकित्सा जैसे क्षेत्र शामिल हैं। इसके अलावा आतंकवाद के मोर्चे पर भी दोनों देश पीड़ित हैं। इजरायल जहां
मोदी विरोध के चक्कर में राष्ट्रहित से खिलवाड़ कर रही कांग्रेस !
कांग्रेस समय-समय पर अपनी फजीहत खुद ही करवा लेती है। इस बार तो हद ही हो गयी, कांग्रेस ने अपने ट्विटर हैंडल से एक ऐसा वीडियो शेयर किया जिसके बाद सोशल मीडिया पर कांग्रेस की खूब आलोचना हुई। कांग्रेस द्वारा पार्टी के आधिकारिक ट्विटर हैंडल पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के इजरायली प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतान्याहू के साथ गले मिलते हुए वीडियो को लेकर एक बेहद छिछले स्तर का वीडियो बनाकर शेयर किया
अंतरिक्ष और रक्षा के क्षेत्र में सफलता के नए आयाम गढ़ता भारत
नया साल देश के लिए अंतरिक्ष के क्षेत्र में सफलता और उपलब्धियां लेकर आया है। अपने सफल प्रक्षेपणों के लिए ख्यात भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन यानी इसरो ने फिर एक उपग्रह का सफल प्रक्षेपण कर दिखाया है। यह उपग्रह कार्टोसेट टू सीरीज का था, जिसे पीएसएलवी के माध्यम से लॉन्च किया गया। यह तो उपलब्धि है ही, लेकिन इससे बड़ी और अहम उपलब्धि ये रही कि इस प्रक्षेपण के साथ ही इसरो द्वारा प्रक्षेपित
डीबीटी प्रणाली के द्वारा स्थापित हो रही आर्थिक सशक्तिकरण की पारदर्शी व्यवस्था
एक प्रश्न है कि किसी भी व्यक्ति के सशक्त होने का व्यवहारिक मानदंड क्या है ? इस सवाल के जवाब में व्यवहारिकता के सर्वाधिक करीब उत्तर नजर आता है- आर्थिक मजबूती। व्यक्ति आर्थिक तौर पर जितना सम्पन्न होता है, समाज के बीच उतने ही सशक्त रूप में आत्मविश्वास के साथ अपनी उपस्थिति दर्ज कराता है। निश्चित तौर पर आर्थिक मजबूती के लिए अर्थ को अर्जित करना ही पड़ता है। भारतीय अर्थ परम्परा में धर्म और
मोदी सरकार के लिए कैसा रहेगा 2018 ?
वर्ष 2018 का देश में चहुँ ओर स्वागत हो रहा है। बीते साल ने सत्ता पक्ष और विपक्ष दोनों को ही एक पूरे साल चौकस और चौकन्ना खड़ा रखा, लेकिन देश की जनता के सामने उम्मीद और संभावनाओं के द्वार भी खोल दिए। वर्ष का अंत गुजरात चुनाव के नतीजों के साथ हुआ, जिसमें आखिरी बाजी तो पीएम नरेन्द्र मोदी और भाजपा अध्यक्ष अमित शाह की करिश्माई जोड़ी ने फिर मार ली। एक बार तो ऐसा लगा कि जातिवाद
तीन तलाक बिल : ये देश कट्टरपंथियों के फतवों से नहीं, संविधान से चलेगा!
भारत की संसद का देश की सर्वोच्च विधायिक संस्था होने के नाते देश की लोकतान्त्रिक व्यवस्था में अपना एक महत्व है, हमारी संसद की आवाज़ पूरे देश की आवाज़ है। एक लोकतंत्रात्मक गणराज्य में संसद देश की संप्रभुता का प्रतीक है, ये कभी भी किसी बाहरी या आंतरिक दबाव के आगे नहीं झुकती, पर ये विडम्बना ही है कि कांग्रेसी सरकार की वोट बैंक की राजनीती ने कल्याणकारी राज्य की सबसे बड़ी विधायिक संस्था को एक
गुजरात-हिमाचल में भाजपा की जीत का सबसे बड़ा श्रेय मोदी-शाह की जोड़ी को जाता है !
नरेन्द्र मोदी की अगुवाई में बीजेपी ने छठी बार चुनाव जीतकर गुजरात में एक नया इतिहास बनाया है। गुजरात के अलावा भाजपा ने हिमाचल में भी दो तिहाई बहुमत हासिल करके अपना डंका बजा दिया है। देश की 135 करोड़ जनता चाहती है कि सरकार की विकासपरक नीतियां जारी रहें। स्थिति साफ़ हो गयी है कि देश का विश्वास प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और उनकी नीतियों के प्रति कायम है। अगर थोड़ी कमियां हैं, तो उन्हें दूर