फ़िल्म सिटी निर्माण की दिशा में योगी सरकार ने शुरुआती कदम भी बढ़ा दिए हैं। प्राप्त जानकारी के मुताबिक़, एक हजार एकड़ भूमि पर इसको विकसित किया जाएगा। योगी ने प्रस्तावित फिल्म सिटी के संबंध में एक प्रस्तुतिकरण का अवलोकन किया। यह स्थान मथुरा वृंदावन से साठ व आगरा से सौ किमी की दूरी पर है। यहां फिल्म सिटी के लिए जरूरी इंफ्रास्ट्रक्चर के साथ-साथ पैतीस एकड़ में फिल्म सिटी पार्क भी विकसित किया जाएगा।
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ संन्यासी हैं। निजी जीवन में उनकी फिल्मों में रुचि भले ना हो, लेकिन अपने सामाजिक संवैधानिक दायित्वों के प्रति वह सतत सजग हैं। इसी क्रम में उन्होंने उत्तर प्रदेश में फ़िल्म सिटी निर्माण का निर्णय लिया है।
घोषणाओं पर अमल के प्रति योगी की छवि बहुत सकारात्मक रही है। इसलिए फ़िल्म सिटी की घोषणा मात्र से उत्साह देखा जा रहा है। कुछ दिन पहले मधुर भंडारकर इस संबन्ध में वार्ता हेतु लखनऊ आये थे। योगी आदित्यनाथ के साथ उनकी फिल्म सिटी पर सार्थक वार्ता हुई। आज अन्य दिग्गजों से उनका संवाद हुआ।
इन सभी को योगी ने अपनी संन्यास मर्यादा के अनुरूप उपहार दिए। योगी आदित्यनाथ ने मिलने पहुँचे निर्माता, निर्देशक, कलाकारों को राममंदिर का प्रसाद दिया। इस प्रसाद में श्रीमद्भगवद्गीता, हनुमान चालीसा, तुलसी माला और एक श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र का चांदी का सिक्का था।
फ़िल्म सिटी निर्माण की दिशा में योगी सरकार ने शुरुआती कदम भी बढ़ा दिए हैं। प्राप्त जानकारी के मुताबिक़, एक हजार एकड़ भूमि पर इसको विकसित किया जाएगा। योगी ने प्रस्तावित फिल्म सिटी के संबंध में एक प्रस्तुतिकरण का अवलोकन किया। यह स्थान मथुरा वृंदावन से साठ व आगरा से सौ किमी की दूरी पर है। यहां फिल्म सिटी के लिए जरूरी इंफ्रास्ट्रक्चर के साथ-साथ पैतीस एकड़ में फिल्म सिटी पार्क भी विकसित किया जाएगा।
एशिया का सबसे बड़ा जेवर इंटरनेशनल एयरपोर्ट समीप ही है। यह भी शीघ्र तैयार हो जायेगा। इसे मेट्रो, रैपिड रेल ट्रांसपोर्ट सिस्टम और हाई स्पीड ट्रेन से भी जोड़ने की योजना है। वस्तुतः फ़िल्म जगत में यह उत्साह योगी आदित्यनाथ की कार्यशैली के कारण है। यह विश्वास व्यक्त किया जा रहा है कि निर्धारित अवधि में ही इसका निर्माण पूर्ण हो जाएगा।
योगी ने कहा है कि उत्तर प्रदेश में अपूर्णता का कोई स्थान नहीं। यहां अधूरा कुछ नहीं होता। यह राम की अयोध्या, कृष्ण की मथुरा, शिव की काशी के साथ ही बुद्ध, कबीर और महावीर की भी धरती है। गंगा, यमुना और सरस्वती का संगम है। यह सभी पूर्णता के प्रतीक हैं। इसी परंपरा को गति प्रदान की जा रही है।
फ़िल्म जगत की आवश्यकताओं के अनुरूप एक भव्य, दिव्य और सर्वसुविधायुक्त पूर्ण फिल्म सिटी का निर्माण होगा। उत्तर प्रदेश दुनिया को एक उपहार देगा। योगी आदित्यनाथ ने अनुपम खेर, परेश रावल, उदित नारायण, नितिन देसाई, कैलाश खेर, अनूप जलोटा, अशोक पंडित, सतीश कौशिक जैसी हस्तियों के साथ प्रस्तावित फिल्म सिटी के स्वरूप पर विस्तार से विमर्श किया।
कहा कि उत्तर प्रदेश पर प्रकृति और परमात्मा की असीम कृपा है। फिल्मों ने हमारी भारतीय संस्कृति से विश्व जगत को परिचित कराया है। यह समाज का दर्पण है। ऐसे में फिल्म निर्माण को बढ़ावा देने और स्थानीय प्रतिभाओं को विशेष अवसर उपलब्ध कराने के उद्देश्य से उत्तर प्रदेश सरकार ने राज्य में मॉडर्न फिल्म सिटी और इन्फोटेनमेंट जोन की स्थापना का निर्णय लिया है। इसके लिए फ़िल्म जगत के अन्य लोगों से भी सुझाव आमंत्रित किये गए हैं, जिससे फ़िल्म सिटी को बेहतरीन बनाया जा सके।
योगी आदित्यनाथ के अनेक सकारात्मक कार्य विश्व स्तर पर प्रतिष्ठित हुए हैं। एक बार फिर उन्होंने मंसूबा बनाया है। यूपी वैश्विक फिल्म जगत को एक नया विकल्प देने के लिए तैयार है।
(लेखक हिन्दू पीजी कॉलेज में एसोसिएट प्रोफेसर हैं। प्रस्तुत विचार उनके निजी हैं।)